लोकसभा चुनाव को लेकर भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने कहा कि चुनाव में जनता को फैसला करना है कि उन्हें कैसी सरकार चाहिए? आतंक और आतंकियों को कुचलने वाली या फिर उनसे बातचीत करने वाली। अहमदाबाद में नामांकन से एक दिन पहले अमित शाह ने डॉ. इन्दुशेखर पंचोली ने कई ज्वंलत व सामयिक मुद्दों पर चर्चा की और उन्होंने कई सवालों के खुलकर जवाब दिए।कांग्रेस के न्यूनतम आय योजना का कितना असर होगा?
नेहरू, इंदिरा, राजीव, सोनिया व मनमोहन के बाद राहुल गांधी भी गरीबी हटाओ का नारा दे रहे हैं। यह परिवार सिर्फ नारे दे सकता है। गरीबी हटाने का काम सही मायने में मोदीजी ने किया है। किसानों की आय बढ़ाने के लिए किसान सम्मान योजना लेकर आए।
विपक्ष ए-सैट पर राजनीति का आरोप लगा रहा?
वैज्ञानिकों ने देश के लिए जो उपलब्धि हासिल की है, उसकी सराहना के बजाय राजनीति का आरोप लगाना विपक्ष के लिए ही घातक होगा। ए-सैट पर पूरा देश गर्व कर रहा है। समझ नहीं आता कि राहुल को इस गौरव की अनुभूति क्यों नहीं हो रही।
राम मंदिर पर कुछ ठोस क्यों नहीं कर पाए?
राम जन्मभूमि पर देश की सबसे बड़ी अदालत विचार कर रही है। मैं इतना ही कहना चाहूंगा कि भव्य राम मंदिर के लिए भाजपा प्रतिबद्ध है। अगर मध्यस्थता से कोई मार्ग निकलता है तो अच्छा है, वरना केस आगे चलेगा।
यूपी में कांग्रेस कितनी बड़ी चुनौती है?
अब कांग्रेस की उत्तर प्रदेश में ऐसी स्थिति नहीं है कि वह किसी का फायदा या नुकसान कर सके।
और प्रियंका?
प्रियंका वाड्रा 12 साल से प्रचार कर रही हैं और कांग्रेस हार रही है।
यूपी में क्या नतीजे होंगे?
यूपी में नरेंद्र मोदी की लोकप्रियता सबसे ज्यादा है। यूपी की जनता उनके पक्ष में है। यूपी में विकास के लिए हमने बहुत काम किया है। नमामि गंगे से लेकर सीवरेज प्लांट व नेशनल हाईवे तक के लिए। शाह ने यूपी में सपा-बसपा गठबंधन पर कहा कि सियासत में फिजिक्स नहीं होती, केमेस्ट्री होती है। कभी-कभी एक जमा एक दो नहीं होते, बल्कि एक को शून्य होना पड़ता है। देख लीजिएगा, इस चुनाव में सपा-बसपा में से कोई एक शून्य हो जाएगा।
भाजपा के क्या मुद्दे होंगे?
सुरक्षा, विकास, गरीबों का कल्याण, दुनिया की 5 बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में शामिल होना, देश के गौरव को स्थापित करना। सबसे बड़ा मुद्दा यह कि देश किसके नेतृत्व में चलेगा? प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर देश भरोसा करता है।
एनडीए में बिखराव है?
कोई बिखराव नहीं है। आज सब साथ खड़े हैं। अब तो पिछले चुनाव से बड़े आकार के साथ मैदान में हैं।
प्रचार में नोटबंदी-जीएसटी क्यों नहीं?
बिल्कुल है। देश का वित्तीय अनुशासन लाने में नोटबंदी-जीएसटी का महत्वपूर्ण योगदान है। जीएसटी के लिए तो कांग्रेस ने दुष्प्रचार किया। मोदी जी ने तो छोटे व्यापारियों को जीएसटी रजिस्ट्रेशन की छूट देकर बड़ी राहत दी है।