न्याय अगर विलंब से है तो न्याय नहीं है -  एडवोकेट फरहात खान


                      एडवोकेट फरहात खान


हिं.दै.आज का मतदाता नोएडा एडवोकेट फरहात खान ने एक संक्षिप्त वार्ता के अंतर्गत बताया की न्याय प्रक्रिया आज अत्यंत ही चिंतनीय विषय बन चुका है न्यायपालिका द्वारा निर्णायक न्याय से को कोई भी शिकवा शिकायत नहीं है लेकिन न्याय प्रक्रिया वर्तमान एवं पूर्व के परिपेक्ष में बहुत ही विलंब से चली आ रही है इसलिए इस प्रक्रिया में बहुत कुछ निर्णायक परिवर्तन करके ऐसी व्यवस्था बने जिससे न्याय जल्दी मिले यह न्यायपालिका को सुनिश्चित करना चाहिए फारहात खान ने कहा कि  भारतीय संविधान का मूल बुनियाद इस सत्य पर है की एक भी बेगुनाह को सजा नहीं मिलना चाहिए चाहे  100 गुनाहगार बरी हो जाए जिसके कारण कानून में काफी हद तक लचीलापन है जिससे आपराधिक गतिविधियों में बल मिलता है इसलिए संवैधानिक परिवर्तन कर इस व्यवस्था में बदलाव लाने की बहुत बड़ी आवश्यकता है एक अन्य सवाल के जवाब में आप ने कहा कि जीएसटी रजिस्ट्रेशन में सरकार को कुछ ऐसी व्यवस्था करनी चाहिए जिससे रजिस्ट्रेशन लेने वाले की जवाबदेही सुनिश्चित हो उसके कागजों की जांच पड़ताल हो उसके व्यवसाय के स्थान का निरीक्षण हो तथा एक प्रोफेशनल  द्वारा सत्यापित हो तभी उसको रजिस्ट्रेशन नंबर मिलना चाहिए आपने कहा कि ऐसा होने से सरकार का राजस्व का नुकसान कम होगा


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